"पूण्य का नाम ही केवल न किताबों में लिखो कुछ गुनाहों से भी दुनिया हसीन बनती है।"
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नमस्कार दोस्तों, कैसे हैं आप सभी , क्या हाल है? मैं आपकी " उमा शर्मा "आपके लिए फिर से हाज़िर हु चुदाई की एक नई दास्तान लेकर. अपने मेरी पुरानी कहानियो को बहुत प्यार दिया और मुझे बहुत सरहा, उसके लिए बहुत सारा थैंक्स. तो आते है उस नई दास्ताँ पर.आशा करती हूँ, आप लोगों को यह कहानी पसंद आएगी।
हैल्लो दोस्तों, मेरा नाम विक्रम है और आज में आप सबके लिए एक सच्ची और मस्त कहानी लेकर आया हूँ। मुझे यकीन है कि आपका कहानी पढ़ते-पढ़ते ही पानी निकल जाएगा। ये कहानी एकदम सच्ची है और पिछले ही महीने की है। मेरा नाम विक्रम है, में 24 साल का हूँ, में जॉब करता हूँ, जो एक शहर में है इसलिए में किराए पर रहता हूँ। वैसे मेरे घर में मेरे मम्मी पापा और एक छोटी प्यारी बहन सोनिया रहती है। सोनिया भी अभी शहर के कॉलेज में पढाई कर रही है। अब में आपको सोनिया के बारे में बता दूँ। मेरी बहन का नाम सोनिया है, उसकी उम्र 20 साल है और उसका इस उम्र में ही फिगर साईज 36-28-34 है। दोस्तों ऐसा फिगर जो देख ले उसका लंड उसी टाईम खड़ा हो जाता है, उसका रंग गोरा और चेहरा भी बहुत सेक्सी है।
यह बात आज से पूरे एक महीने पहले की है। मैंने पिछले 4 महीने में एक भी छुट्टी नहीं की थी, इसलिए कंपनी वालों ने मुझे एक साथ 15 छुट्टियां दे दी थी। अब उधर मेरी बहन के भी एग्जॉम ख़त्म हो गये थे, इसलिए वो भी अपने घर आ गई थी। हम दोनों भाई बहन एक साथ काफ़ी टाईम बाद घर आए हुए थे, इसलिए मम्मी पापा हम दोनों को देखकर बहुत खुश हो रहे थे। फिर जब मैंने उसे देखा तो उसको देखता ही रह गया, उसके मोटे-मोटे बूब्स अब खड़े थे, जो कि पहले आम की तरह लटके रहते थे और कमर और भी पतली हो गई थी और गांड पूरी बाहर को आ रही थी, उसकी गांड को देखते ही मेरा लंड उसे सलामी देने लग गया था। दोस्तों आपको पता ही है जो बंदा बाहर जॉब करता है वो हर रोज चूत मारता है। अब मेरा भी कुछ ऐसा ही हाल था। अब मुझे यहाँ अपनी ही बहन ने पूरा पागल कर दिया था।
अब में सिर्फ़ उसको ही देख रहा था। अब मैंने आते ही उसके नाम की मुठ मारना शुरू कर दिया था। अब में मम्मी के साथ बैठकर बातें कर रहा था और दीदी मेरे सामने बैठी घर का काम कर रही थी। अब मेरी नजर उसके बूब्स पर थी। फिर जब उसने देखा कि उसका भाई उसके बूब्स पर अपनी नजर रख रहा है, तो तभी उसने मेरी तरफ देखा और मुझे देखकर मुस्कुराने लग गई थी। फिर मम्मी ने मुझसे कहा कि बेटा जा खेत में अपने पापा को लंच दे आ। तब दीदी ने कहा कि में भी अपना खेत देखकर आऊंगी। फिर हम दोनों तैयार हुए और अब इतने में मम्मी ने लंच पैक कर दिया था। फिर हम दोनों कुछ ही देर में अपने पापा के पास पहुँच गये और उन्हें लंच देकर आगे अपने खेतों में घूमने लग गये। अब पापा ने इतने में लंच कर लिया था और किसी काम से बाहर चले गये थे। अब थोड़ा आगे एक गन्ने का खेत था। फिर हम दोनों वहाँ पर गये और गन्ने चूसने लग गये। तब दीदी ने कहा कि मुझे भी चूसना है, उस टाईम उसने वाइट कलर का टॉप और ब्लू कलर की टाईट जीन्स पहनी हुई थी। दोस्तों ये कहानी आप चोदन डॉट कॉम पर पड़ रहे है।
अब उसे देखकर तो मेरा मूड ऐसे ही खराब हो रहा था। फिर मैंने भी उसको एक गन्ना चूसने को दिया। तब बाद में दीदी ने मुझसे कहा कि उसको बहुत ज़ोर से पेशाब आ रही है। तब मैंने कहा कि ये गाँव है, शहर नहीं, जो हर जगह वॉशरूम बने होंगे, ऐसा करो में खेत के अंदर चला जाता हूँ और तुम यहीं पर बैठकर पेशाब कर लो, वैसे भी यहाँ पर दूर-दूर तक कोई नहीं है। तब दीदी ने मेरी बात मान ली। फिर में खेत के अंदर चला गया, लेकिन फिर वापस आगे आ गया। अब में अपनी बहन के नंगे चूतड़ देखना चाहता था। फिर दीदी ने मेरी तरफ अपनी गांड की और फिर उसने अपनी जीन्स नीचे की और अपनी पिंक पेंटी को भी नीचे कर दिया, वाह इतने गोरे और इतने मोटे चिकने चूतड़ मैंने आज तक नहीं देखे थे। अब मेरा लंड मेरे पजामें में ही पूरा खड़ा हो गया था। फिर उसके बाद जब उसने पेशाब कर लिया, तो तब में बाहर आया और फिर जैसे ही में बाहर आया। तब सोनिया ने मेरे पजामें में बना टेंट देख लिया और अब वो एक सेकेंड में ही समझ गई थी कि उसके भैया ने आज उसके नंगे चूतड़ देख लिए है।
फिर उसके बाद मैंने उससे कहा कि में अभी कुछ ही देर में आया, अब मुझसे कंट्रोल नहीं हो रहा था। अब में खेत में काफ़ी अंदर तक चला गया था। अब अंदर एक साफ जगह बनी हुई थी और फिर में वहाँ पर खड़ा होकर ज़ोर-ज़ोर से मुठ मारने लग गया। अब मैंने अपनी दोनों आँखें बंद कर रखी थी। अब मेरी आँखो के सामने दीदी के गोरे-गोरे चूतड़ घूम रहे थे। अब में ज़ोर-ज़ोर से मेरे लंड को आगे पीछे कर रहा था, तो तभी मुझे महसूस हुआ कि किसी ने मेरे लंड को आगे से पकड़ लिया है। तभी मैंने उसी टाईम अपनी आँखें खोली और नीचे देखा तो मेरी बहन नीचे बैठी हुई थी और मेरे लंड को अपने मुँह में ले रही थी। तब में बोला कि दीदी आप यहाँ? तो तब सोनिया बोली कि हाँ मेरे भैया, अब में अगर अपने भाई का मूड खराब कर सकती हूँ तो उसकी मदद भी तो कर सकती हूँ और ये कहते ही वो ज़ोर- ज़ोर से मेरा लंड अपने मुँह में लेने लग गई थी।
अब में भी उसका सिर अपने हाथों में पकड़ा था और ज़ोर-ज़ोर से उसका मुँह चोदने लग गया था। फिर कुछ ही देर के बाद मुझे लगा कि अब चुदाई का टाईम आ गया है। तब मैंने दीदी से कहा कि आप 1 मिनट के लिए यहीं रूको, में अभी आया और फिर में भागकर जहाँ पर पापा लंच कर रहे थे, वहाँ गया और वहाँ से एक चादर उठाकर ले आया। फिर मैंने जल्दी से चादर नीचे बिछा दी और अपनी दीदी को पूरा नंगा कर दिया और उसे नीचे लेटाकर उसके बूब्स बहुत ज़ोर-ज़ोर से चूसने लग गया था। उसके दोनों बूब्स ही बहुत कमाल के थे। फिर करीब 15 मिनट तक उसके दोनों बूब्स चूसने के बाद में सीधा नीचे उसकी चूत के पास गया और वहाँ जाकर मैंने अपनी बहन की चूत को अच्छे से चाटा और चूमा। अब मेरी जीभ उसकी चूत और उसके ऊपर अपना पूरा असर दिखा रही थी। अब सोनिया पूरी तरह से कांप रही थी और फिर कुछ ही देर में उसकी चूत ने अपना पानी निकाल दिया।
फिर मैंने उससे कहा कि चलो ठीक है, अब चूत चुदाई की बारी आ गई है और फिर मैंने उसकी दोनों टाँगे ऊपर उठाई और अपना लंड उसकी चूत पर सेट करके अपनी पूरी ताकत से उसकी चूत में अपना लंड डाल दिया। फिर जैसे ही मेरा लंड पूरा अंदर गया तो तब सोनिया बोली कि भैया आपका लंड तो बहुत ही बड़ा है, आज तो चुदने का मज़ा ही आ गया। अब हम दोनों के पास टाईम कम था इसलिए में अपनी पूरी ताकत से अपनी बहन की चूत को चोद रहा था। अब दीदी के मुँह से आहह, आह की ज़ोर- ज़ोर से आवाज़ें आ रही थी। अब करीब 20 मिनट की ज़ोरदार चुदाई के बाद मेरे लंड का पानी निकलने वाला था, लेकिन उससे पहले सोनिया की चूत ने अपना पानी निकाल दिया था। फिर मेरे लंड ने भी उसकी चूत में ही अपना सारा पानी निकाल दिया। फिर हम दोनों खड़े हुए और अपने कपड़े पहने और फिर हम दोनों ने 5 मिनट तक लिप्स किस किया और खेत से बाहर आ गये, लेकिन फिर जैसे ही हम दोनों बाहर आए तो अब हम दोनों के सामने पापा खड़े थे। अब हम दोनों की गांड फट गई थी। अब मेरी तो बोलती ही बंद हो गई थी।
फिर पापा दीदी के पास आए और उसकी गांड पर जोरदार थप्पड़ मारकर बोले कि साली तू तो शहर में रहकर रंडी बन गई है, अपने सगे भाई तक को नहीं छोड़ा तूने, चल अब अपने बाप को भी मज़े दे। तो ये सुनते ही हम दोनों बहुत खुश हो गये। फिर पापा दीदी को पकड़कर फिर से खेत में ले गये और वहाँ पर उसे नीचे बैठाकर सबसे पहले पापा ने अपना लंड अच्छे से चुसवाया। पापा का लंड तो मुझसे भी बड़ा और मोटा था। फिर पापा ने कहा कि बेटा तू भी नंगा हो जा, आज इस रांड को हम दोनों मिलकर चोदेंगें। अब में और पापा दोनों बारी-बारी से उसका मुँह चोद रहे थे। फिर पापा नीचे सीधे लेट गये और अब दीदी पापा के लंड के ऊपर बैठी हुई थी और आगे से में उसका मुँह चोद रहा था। फिर में पीछे गया और दीदी की गांड पर अपना थूक लगाकर अपना पूरा लंड उसकी गांड में डाल दिया। तब दीदी बहुत ज़ोर से चिल्लाई और अब हम दोनों के लंड को लेने लग गई थी। फिर हम दोनों बाप बेटे ने अपनी सोनिया को 40 मिनट तक जमकर चोदा और फिर हम दोनों ने अपना-अपना पानी उसके मुँह में ही निकाल दिया। फिर रात को घर पर जैसे ही मम्मी सो गई तो तब में और पापा सोनिया को लेकर ऊपर वाले कमरे में चले गये और फिर वहाँ पर भी हमने सोनिया को अच्छे से चोदा। दोस्तों में वहाँ 15 दिन रहा और मैंने 13 दिन तक अपनी बहन सोनिया को बहुत अच्छे से चोदा और फिर में अपनी जॉब पर वापस आ गया और सोनिया दीदी अपने कॉलेज चली गई। अब हम दोनों फिर से घर जायेंगे और इस बार फिर में और पापा सोनिया को मिलकर बजाएगें ।।
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